लापरवाही पर जालौन सीवीओ को प्रतिकूल प्रविष्टि, झांसी काेे मिली चेतावनी

- पशु हताहत होने पर होगी कार्रवाई

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झाँसी। मंडलायुक्त ने कार्य में शिथिलता बरते जाने पर मुख्य पशु चिकित्साधिकारी जालौन को प्रतिकूल प्रविष्टि दिए जाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने जनपद झाँसी व जालौन के कार्यों से असंतुष्ट होकर 15 अप्रैल तक कार्ययोजना प्रस्तुत न करने पर कार्रवाई करने की चेतावनी भी दी। मंडल में गोवंश वन्य विहार विकसित करने तथा गोचर भूमि पर पशु आश्रय स्थल निर्मित करने के कार्यों में तेजी लाए जाने के निर्देश देते हुए कहा कि यदि पशु हताहत होंगे तो सख्त कार्रवाई की जाएगी।
अन्ना प्रथा उन्मूलन एवं चरागाह विकास कार्यों की समीक्षा करते हुए मंडलायुक्त कुमुदलता श्रीवास्तव ने कहा कि विभागीय अधिकारियों द्वारा लापरवाही बरतने पर योजनाओं का क्रियान्वयन तथा उनका अनुश्रवण कार्य संतोषजनक नहीं है। मुख्य सचिव उप्र द्वारा किये गये निर्देशों के क्रम में दो माह बीत जाने के बाद भी कार्य प्रारंभ नहीं किए गए। अन्ना पशुओं के भरण-पोषण के लिए सेल्फ संस्टेनिंग माडल विकसित किए जाने की चर्चा करते हुए कहा कि गौशालाओं में स्वेच्छा से निःशुल्क भूसा उपलब्ध कराए जाने के लिए कृषकों की सहमति के साथ ही ग्राम प्रधान की अध्यक्षता में ग्राम स्तरीय गौ संरक्षण समिति की स्थापना करें जिसमें गांव के ही युवाओं को वालेन्टियर बनाया जाए। इस दिशा में ललितपुर में कार्य प्रारंभ कर दिया गया है, लेकिन झाँसी व जालौन जनपद में कोई प्रगति नहीं हो सकी। चरागाह विकास की प्रगति पर मंडलायुक्त ने असंतोष व्यक्त करते हुए मंडल में चरागाह को अतिक्रमण मुक्त कराए जाने के कार्य में तेजी लाए जाने के निर्देश दिए। गौवंश वन्य विहारों की स्थापना पर चर्चा करते हुए मंडलायुक्त ने जालौन व झाँसी जनपद के अधिकारियों को फटकार लगाते हुए कहा कि मुख्य सचिव के निर्देश के बाद भी अब तक कार्रवाई नहीं की गई। उन्होंने तत्काल प्रस्ताव भेजे जाने के निर्देश दिए। गौचर भूमि पर पशु आश्रय स्थल बनाए जाने संबंधी कार्य की समीक्षा करते हुए कहा कि मंडल के लगभग चार लाख अन्ना पशु है जिनमें मात्र चार हजार की ही व्यवस्था की गई है। जन सहयोग से अधिक से अधिक पशुओं की व्यवस्था की जाए जिसके लिए गांववार समिति का गठन 15 अप्रैल तक पूर्ण किया जाए।
इस मौके पर सहायक निदेशक पशु पालन, उप निदेशक अर्थ एवं सांख्यिकी, संयुक्त निदेशक कृषि, उप निदेशक पंचायत, उप निदेशक उद्यान, अधीक्षण अभियंता एसई लघु सिंचाई उपस्थित रहे।

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