हमीरपुर। आज चिकित्सकों के व्यवहार और पैसों की भूूूूख को देखते हुए लोग उनको गलत ही समझने लगे हैं। ऐसे में एक चिकित्सक द्वारा एक मरणासन्न युवक को दोबारा जीवनदान देने की घटना घटने के बाद एक बार फिर से चिकित्सकों के प्रति लोगों के रवैये में बदलाव आया है।
मामला जनपद हमीरपुर के समुदायक स्वास्थ्य केंद्र राठ का है जहाँ करंट लगने के बाद युवक मौत के मुँह से वापस लौट आया। एक ऐसा ही नज़ारा देखने को मिला राठ के समुदायक स्वास्थ्य केंद्र में जहाँ युवक को करंट लगने के बाद इलाज के लिए लाया गया था, जिसकी नब्ज और दिल की धड़क बंद हो चुकी थी। कपिल (20) पुत्र किशोर सिंह निवासी अटगाव् हाल मुकाम पठानपुरा राठ को घर पर लाइट का प्लग लगाते समय करंट लग जाने से अचेत हो गया था। आनन् फानन में उसे परिजनों द्वारा राठ हॉस्पिटल लाया गया। युवक की नब्ज़ और दिल की धड़कन बंद हो गई थी, लेकिन डॉक्टर केके मिश्रा ने हिम्मत नही हारी और वो लगातार युवक के हार्ट को पंप करते रहे। लगभग 30 मिनट पंप करने के बाद करिश्मा हो गया। युवक ने गहरी लंबी सांस ली, हॉस्पिटल में मौजूद लोग ये नज़ारा देखकर दंग रह गए। लोग अचम्भे में थे कि इंसान की नब्ज़ और हार्ट बीट बंद हो जाने के बाद भी वह जिंदा रह सकता है। डॉक्टर केके मिश्रा द्वारा युवक को बचाने के लिए किये गए प्रयास की नगर में खूब चर्चा हो रही है। वहीं अस्पताल में आईसीयू, फिजिशियन और कार्डियोलॉजिस्ट के न होने की वजह से युवक को रिफर कर दिया गया।
रिपोर्ट – मोहम्मद मुख्तार हमीरपुर