एडवांस फीस जमा कराने को लेकर स्‍कूल न बनाएं अभिभावकों पर दबाव: डीएम

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झांसी। जनपद के सभी शैक्षणिक संस्‍थानों को जिलाधिकारी द्वारा निर्देश दिए गए है कि वह अभिभावकों पर एडवांंस फीस जमा कराने का दबाव नहीं बनाए और न ही फीस जमा नहीं कराने पर किसी छात्र या छात्रा का नाम काटा जाए। आपदा समाप्‍ति के बाद उस त्रैमासिक फीस को आगामी महीनों में समायोजित कर अभिभावकों को सूचित किया जाए। ऐसा न होने पर सम्‍बंधित स्‍कूल के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
जिलाधिकारी ने निर्देश देते हुए कहा कि उत्तर प्रदेश शासन राजस्व विभाग के शासनादेश के अनुसार 24 मार्च 2020 को भारत सरकार के आपदा प्रबंधन अधिनियम 2005 व उत्तर प्रदेश आपदा प्रबंधन अधिनियम 2005 की धारा 2 की धारा (जी) के तहत कोरोनावायरस के कारण फैल रही महामारी को आपदा घोषित किया गया है। कोरोना वायरस के फैलाव से बचाव और नियंत्रण किए जाने के उद्देश्य से भारत सरकार और उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा 22 मार्च से 14 अप्रैल 2020 तक लॉक डाउन घोषित किया गया है और इस अवधि में जनपद झांसी के समस्त शैक्षणिक संस्थान बंद हैं। देश भर में लॉक डाउन के कारण उक्‍त विद्यालयों में पढ़ने वाले छात्र छात्राओं के अभिभावकों व उनके परिजनों के कारोबार व रोजगार प्रभावित हुए हैं। विद्यालय में अध्ययनरत छात्र-छात्राओं को माह अप्रैल, मई व जून 2020 की फीस पूर्व वर्षों की तरह माह अप्रैल में जमा कराए जाने की सूचना/निर्देश प्राप्त हो रहे हैं, जबकि लॉक डाउन से प्रभावित कई अभिभावक अप्रैल माह में एडवांस फीस देने में असमर्थ हैं। इससे अभिभावकों में भय व अशांति की स्थिति उत्पन्न हो गई है। उन्‍होंने कहा कि ऐसी स्थिति में उत्तर प्रदेश आपदा प्रबंधन अधिनियम 2005 के अध्याय 9 की धारा 23(4) में प्रदत्‍त शक्तियों का प्रयोग करते हुए जनपद झांसी के समस्त शैक्षणिक संस्थानों के प्रबंधन को निर्देश दिया जाता है कि उनके द्वारा कोरोना वायरस की आपदा की अवधि में किसी भी अभिभावकों को एडवांस फीस जमा करने के लिए बाध्‍य ना किया जाए। जिलाधिकारी ने कहा कि फीस जमा न करने के कारण किसी विद्यालय से छात्र छात्रा का नाम भी ना काटा जाए। आपदा समाप्ति होने पर उक्त त्रैमासिक फीस को आगामी महीनों में समायोजित करके अभिभावकों को सूचित किया जाए। उन्होंने कहा कि आदेश का उल्लंघन राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन अधिनियम 2005 की धारा 51 के अंतर्गत दंडनीय है। इसका स्‍कूल प्रबंधन ध्‍यान रखते हुए आदेश का पालन कड़ाई से सुनिश्चित करें।

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