झांसी। सीमा पर प्रवासी मजदूरों को लेकर आने वाले ट्रकों को सीज करते हुए उन पर भारी जुर्माना लगाया जाए, क्योंकि यह सभी ट्रक मालवाहक हैं। इनको आदमियों को ढोने की परमीशन नहीं है। यह गैरकानूनी तरीके से मजदूरों को ढो रहे हैं। कई राज्यों से मजदूरों को ट्रकों में भर भर कर भेजा जा रहा है। इन मजदूरों को सीमा पर ही रोक लिया जाए और उनको उतार कर यदि 500 किमी के अंदर किसी जनपद में उनका गांव है, तो उनको बस से उनके गंतव्य स्थल तक भेजा जाए। यदि ज्यादा दूर है, तो फिर उनको ट्रेन द्वारा उनके गंतव्य स्थल तक भेजा जाए। उक्त निर्देश मुख्यमंत्री उत्तर प्रदेश सरकार योगी आदित्यनाथ ने प्रदेश भर के अधिकारियों के साथ वीडियो कांफ्रेंसिंग कर दिए।
उन्होंने कहा कि यूपी की सीमा में प्रवासी मजदूरों के प्रवेश पर रोक लगाई जाए और अन्य प्रदेशों से उतर प्रदेश की सीमा में पैदल, दो पहिया, तिपहिया वाहन, अन्य किसी वाहन एवं ट्रक के माध्यम से किसी भी प्रवासी व्यक्ति को प्रवेश न करने दिया जाए। ट्रकों को रोककर मजदूरों को उतारा जाए और डाक्यूमेण्टेशन व जांच के उपरांत उनको बस या ट्रेन के माध्यम से उनके गंतव्य स्थान तक पहुंचाया जाए। किसी भी प्रवासी को सड़क अथवा रेलवे लाइन पर न चलने दिया जाए। वहीं अगर पैदल व्यक्ति किसी प्रकार से यूपी की सीमा के पास आ जाते हैं तो उन्हे वहीं रोककर स्वास्थ्य विभाग द्वारा निर्गत निर्देशों के अनुरूप कार्यवाही सुनिश्चित की जाए। समस्त प्रवासियों हेतु खाने-पीने की सुदृढ़ व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। इस पर झांसी जिलाधिकारी आंद्रा वामसी ने बताया कि झांसी से एक लाख तैतींस हजार के लगभग मजदूरों को विभिन्न जनपदों में भेजा जा चुका है। पांच हजार गाड़ियां लगभग प्रतिदिन रक्सा बार्डर पर आ रही हैं। 20 हजार लोगों को सामुदायिक रसोई से भोजन उपलब्ध कराया जा रहा हैैै। वहीं जिलाधिकारी ने मजदूरों को ले जाए जाने के लिए ट्रेन बढ़ाए जाने की बात कही, जिसको मुख्यमंत्री ने मानते हुए अपर मुख्य सचिव ग्रह से बात करने की बात कही। वहीं मण्डलायुक्त सुभाष चंद्र शर्मा ने बताया कि महाराष्ट्र व गुजरात से मजदूरों को ले जाने के लिए बड़ी संख्या में ट्रकों के पास जारी हो चुके हैं। वह लोगों को लेकर आ रहे हैं। इस पर मुख्यमंत्री ने ट्रकों को रोकने के निर्देश दिए। आईजी सुभाष सिंह बघेल ने बताया कि चिरुला बार्डर मध्य प्रदेश से 20 हजार के आसपास मजदूरों को पैदल यहां भेजा जा रहा है। उनको यहां से सरकारी बसों व निजी बसों द्वारा उनके घरों की ओर भेजा जा रहा है। मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि ट्रेन से आने वालों को रोडवेज बसों से उनके घरों तक भेजा जाए। वहीं प्रमुख सचिव ने बताया कि अब दो पहिया वाहन पर दो लोगों के बैठने की अनुमति मजिस्ट्रेट से लेना होगा। पीछे बैठे व्यक्ति को हेलमेट, मास्क और ग्लब्स लगाना अनिवार्य होगा। फेस मास्क न लगाने और सार्वजनिक स्थान पर थूकने पर जुर्माना लगाया जाएगा। इस मौके पर मुख्य विकास अधिकारी निखिल टीकाराम फुंडे, एसएसपी डी प्रदीप कुमार, एडीएम राम अक्षयवर चौहान, नोडल अधिकारी अबरार अहमद सहित अन्य अधिकारी उपस्थित रहे।
मेडिकल कालेज में मरीजों को नहीं मिल रही सुविधाएं
मुख्यमंत्री ने झांसी प्रशासन से कहा कि उनको शिकायत मिल रही है, कि यहां मेडिकल कालेज में साफ सफाई नहीं है और मरीजों का भी विशेष ख्याल नहीं रखा जा रहा है। चिकित्सक राउण्ड नहीं ले रहे हैं और बेड शीट बदली नहीं जा रही है। ऐसा उनको मरीजों से बात करने पर जानकारी मिली है। इस व्यवस्था में सुधार लाया जाए।
मुख्यमंत्री का सराहनीय कदम
उल्लेखनीय कि मजदूरों के पैदल चलने और ट्रकों से कुचलकर मौत होने की घटनाएं अधिकतर स्थानों पर बढ़ती ही जा रही हैं। वहीं इस पर राजनीति करने वाले भी तमाम बयानबाजी कर रहे हैं। ऐसे में मुख्यमंत्री द्वारा यह निर्देश देकर जनता और मजदूरों के हित में एक सराहनीय कदम उठाया है। शनिवार को भी एक दुर्घटना में लगभग 25 मजदूरों की मौत हो गई और कई घायल हो गए थे।