गढ़मऊ झील, बरूआसागर तालाब एवं नोट घाट पुल का निरीक्षण कर मुख्य सचिव ने वाटर स्पोर्ट्स के लिए बताया उपयुक्त

*** मुख्य सचिव उत्तर प्रदेश द्वारा ग्राम लहरठकुरपुरा में चंदेल कालीन तालाब के पुनरुद्धार कार्य को देखा एवं पुनरुद्धार कार्य की प्रशंसा भी की ** प्राचीन किले, गढ़ियां एवं चंदेल कालीन तालाबों को चिन्हित करते हुए पर्यटक स्थल के रूप में विकसित करने का दिया सुझाव ** मुख्य सचिव उ0प्र0 ने उक्त स्थल पर मेला का आयोजन करते हुए किए गये कार्य का व्यापक प्रचार-प्रसार करने के दिए निर्देश ** जनपद में पर्यटन की असीम संभावनाएं, स्थलों को चिन्हित करते हुए पर्यटक स्थल के रूप में विकसित करें

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झांसी। प्रदेश सरकार के मुख्य सचिव दुर्गाशंकर मिश्र ने लहर ठकुरपुरा गाँव के चन्देल कालीन तालाब के जीर्णोद्धार कार्य का निरीक्षण किया। उन्होंने बबीना हाइवे के पास पाइप पेयजल योजना के अंतर्गत टहल कम्पनी द्वारा बनाये जा रहे अमृत प्रोजेक्ट फेज-2 का भी निरीक्षण किया। उन्होंने बरुआसागर किला का भी निरीक्षण किया और पर्यटक स्थल के रूप में विकसित करने के निर्देश दिए।

उत्तर प्रदेश सरकार के मुख्य सचिव विकास खण्ड बबीना के लहर ठकुरपुरा गाँव पहुँचे, जहाँ पर ग्राम प्रधान राजेश्वरी देवी, आजाद सिंह यादव व जल सहेलियों ने पुष्पगुच्छ भेंटकर उनका स्वागत किया। इस अवसर पर ग्रामीणों ने बुन्देलखण्ड का प्रसिद्ध मोनिया नृत्य प्रस्तुत किया, मोनिया नृत्य देखकर मुख्य सचिव ने ताली बजाकर कलाकारों का उत्साहवर्धन किया। मुख्य सचिव ने मनरेगा व क्षेत्र पंचायत द्वारा चन्देल कालीन तालाब के जीर्णोद्धार कार्य का निरीक्षण किया। उन्होंने तालाब की जलकुम्भी हटाने के लिये जल सहेलियों व परमार्थ समाजसेवी संस्थान सहित जिला प्रशासन की प्रशंसा की। मुख्य सचिव ने तालाब को पर्यटन स्थल के रूप में विकसित करने का सुझाव दिया उन्होंने मौके पर ग्रामीणों द्वारा तालाब के सौंदर्यीकरण के अंतर्गत बाउंड्री वॉल एवं विद्युत व्यवस्था को उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। निरीक्षण के अवसर उन्होंने वृक्षारोपण किया।

लहरठकुरपुरा गांव के तालाब के निरीक्षण के दौरान जिलाधिकारी रविन्द्र कुमार ने जानकारी देते हुये बताया कि तालाब चंदेल कालीन युग का एक बेमिसाल तालाब है, परंतु अपना अस्तित्व लगभग खोने की कगार पर था, जिसे मनरेगा ग्राम निधि एवं व्यापक जन सहयोग से पुनर्जीवित किया गया है। परमार्थ समाज सेवी संस्थान की जल सहेलियों द्वारा भी इस पुनीत कार्य में अपना योगदान दिया गया। उन्होंने बताया कि ग्राम लहार में लगभग 1000 वर्ष पुराना चंदेल कालीन तालाब है जिससे आस पास के गाँवों की लगभग 350 किसानों के खेतों की सिंचाई होती है। यह तालाब लगभग 82 एकड़ में फैला हुआ है। इस तालाब में ग्राम पंचायत सुकवां, रसीना, गणेशपुरा, लहर ठकुरपुरा एवं सिमिरिया में बरसात का पानी आता है। जिलाधिकारी ने उक्त तालाब के जीर्णोद्धार एवं पुनर्जीवित करने के लिए पूरे तालाब में फैली जलकुम्भी को जन भागीदारी एवं पाइपकल्वर्ट के माध्यम से जल प्रवाह द्वारा बाहर निकालने का कार्य किया है जिससे तालाब में पानी साफ हो गया है। जलकुम्भी हटाने से तालाब की मछलियों को नया जीवन मिला है जिससे मछली पालन की सम्भानायें बढ़ गई, जो क्षेत्रीय लोगों का आय का जरिया बनेगा। तालाब में जलकुम्भी की सफाई होने से आस पास के गांवों के जानवरों को पीने के लिए साफ पानी उपलब्ध होने लगा है। तालाब में घाट निर्माण से गाँव के लोग अब कपडे धोने एवं नहाने के लिए पानी का इस्तेमाल करने लगे। तालाब में पानी रहने की वजह से आस पास के गाँवों के जल स्त्रोतों में भूजल स्तर में वृद्धि हुई है। जिला प्रशासन द्वारा तालाब के सौन्दर्यीकरण हेतु आस पास एपेक्स बिछाने का कार्य किया गया है जिससे तालाब को जल पर्यटन के रूप में विकसित किया जा सके। उन्होंने बताया कि तालाब के पुनर्जीवन से गाँव के पलायन में कमी आई है। उन्होंने जानकारी देते हुए बताया कि लहरठकुरपुरा तालाब के पानी को प्राकृतिक तौर पर साफ करके सिंचाई के लायक बना दिया गया जिससे आस पास के गांवों के किसानों को सिंचाई के लिए आसानी से जल प्राप्त हो सके। जानवरों के लिए वर्ष पर्यंत पेयजल की उपलब्धता सुनिश्चित हुई है। सिंचाई हेतु पानी मिलने से कृषि उत्पादन में बढ़ोत्तरी हुई है जिससे आस पास के गांवों के किसानों की आय में वृद्धि संभव हो सकी। तालाब के चारों ओर लाइट एवं बाउंड्री वॉल की व्यवस्था की जा रही है ताकि क्षेत्र को पर्यटक स्थल के रूप में विकसित किया जा सके।
मुख्य सचिव ने बबीना हाइ-वे के पास अमृत कार्य के अन्तर्गत स्वीकृत झाँसी महानगर पेयजल पुनर्गठन योजना फेज-2 के चल रहे कार्य का स्थलीय निरीक्षण किया। इस योजना का कार्य टहल कन्सल्टिंग एजीनियर्स इण्डिया प्राइवेट लिमिटेड ज्वाइण्ट बैन्चर लिमिटेड द्वारा किया जा रहा है। इस दौरान मण्डलायुक्त डॉ. आदर्श सिंह, जिलाधिकारी रविन्द्र कुमार, मुख्य विकास अधिकारी जुनैद अहमद, उपायुक्त श्रम रोजगार रामऔतार सिंह, एसपी सिटि ज्ञानेन्द्र सिंह, सीओ सिटि राजेश कुमार राय, सिटि मैजिस्ट्रेट अंकुर श्रीवास्तव, परमार्थ समाजसेवी संस्था प्रमुख डॉ. संजय सिंह सहित बड़ी संख्या में ग्रामीण मौजूद रहे।

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