झांसी। एक ओर तो बुन्देलखण्ड विश्वविद्यालय द्वारा सुविधाओं को लेकर बड़े बड़े दावे किए जाते रहे है, लेकिन उनके दावों की पोल यहां खुल जाती है। दिन भर के थके हारे घर पहुंचे शिक्षकों और उनके परिवार के लोगों को अपने काम धाम छोड़कर राताेें में पानी के लिए भटकना पड़ रहा है। शिक्षकों ही नहीं कई होस्टलों की भी यही स्थिति है। विवि प्रशासन इस ओर कोई ध्यान नहीं दे रहा हैैै। गर्मी बढ़ने के साथ ही पानी की समस्या जगह जगह बढ़ती ही जा रही है।
उल्लेखनीय है कि विवि में नये बने आवासीय परिसर में यह समस्या पहलेे से ही तय थी, लेकिन गर्मी में स्थिति इतनी भयाावह हो जाएगी इसकी उम्मीद वहां रह रहे शिक्षकों को नहीं थी। वर्तमान में परीक्षाओं के कामों में लगे शिक्षकों को दिनभर के थकान के बाद यह समस्या घेरे रहती है कि घर पहुंचनेे के बाद एक गिलास पीने का पानी भी नसीब होगा कि नहीं। घर पहुुंंचने के बाद उनकी यह समस्या विकराल रुप ले लेेेेती है और उनको आराम करने के स्थान पर घर के कामों और सुबह की तैयारी के लिए पानी की व्यवस्था करने निकलना पड़ता है। एक शिक्षक ने बताया कि नजदीक ही एक पार्क है, जहां पानी की व्यवस्था हो जाती है। कई बार वहां से भी खाली हाथ ही लौटना पड़ता है। उन्होंने बताया कि आवासीय परिसर में रहने वाले शिक्षकों की समस्याओं के बारे में विवि प्रशासन को ज्ञात है, लेकिन उसके बाद भी कोई व्यवस्था नहीं की गई है।
विवि : क्या इस आधार पर उच्चीकरण हासिल होगा?
पानी को तड़पे शिक्षक और उनके परिवार