जनपद में भी होगा ऐप के माध्यम से डिजिटल क्रॉप सर्वे, पायलट प्रोजेक्ट में झांसी भी हुआ शामिल

** उ0प्र0 में एग्रीस्टैक परियोजना के अंतर्गत डिजिटल क्रॉप सर्वे के क्रियान्वयन की तैयारियां जनपद में पूर्ण ** अब हर खेत की फसल का होगा डिजिटल रिकॉर्ड, एक क्लिक पर मिलेगी सारी जानकारी ** डिजिटल क्राप सर्वे से जनसामान्य के विवादों में आएगी कमी तथा निस्तारण में मिलेगी सहुलियत ** सूखे के दौरान फसल नुकसान होने पर राहत अनुदान का वितरण, कृषि इनपुट सप्लायर के साथ कृषकों को जोड़ने का अवसर, किसानों को लक्षित फसल सलाह प्रदान किए जाना होगा सरल

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झांसी। जिलाधिकारी रविंद्र कुमार ने बताया उ0प्र0 एग्री स्टैक परियोजना के अंतर्गत डिजिटल क्रॉप सर्वे के क्रियान्वयन की तैयारियां पूर्ण कर ली गई हैं, जनपद झांसी को पायलट प्रोजेक्ट के तहत शामिल किया गया है।
उन्होंने बताया कि जनपद में भारत सरकार द्वारा केंद्र पोषित डिजिटल मिशन ऑन एग्रीकल्चर घटक के अंतर्गत प्रदेश में उगाई जाने वाली फसलों के रियल टाइम सर्वेक्षण हेतु एग्री स्टैक परियोजना के अंतर्गत जियो रेफरेंस आधारित फसल की फोटो के साथ डिजिटल क्रॉप सर्वे कार्यक्रम वर्तमान वित्त वर्ष में खरीफ 2023 से पायलट प्रोजेक्ट के रूप में संचालित किया जाना है इस योजना के संचालन से किसानों को अनेक सुविधाएं प्राप्त होंगी।
जिलाधिकारी ने बताया कि डिजिटल तकनीक की मदद से यूपी में हर खेत की फसल का डिजिटल रिकॉर्ड अब सरकार के पास उपलब्ध रहेगा। फसलों की बुआई से लेकर उपज होने तक, अब तक हो रहे मैन्युअल सर्वेक्षण की जगह अब डिजिटल क्रॉप सर्वे किया जाएगा। सरकार ने बुवाई और उपज का सटीक आंकलन करने के लिए हर खेत की फसल का सर्वे कराने की परियोजना शुरू की है। इस प्रोजेक्ट के तहत सरकार पता लगाएगी कि किस जिले में कौन-कौन सी फसल कितने रकबे में बोई जा रही है और इससे कितनी उपज हो रही है, इसके साथ ही इस तकनीकी से जनसामान्य में विवाद की स्थिति कम होगी तथा उनकी शिकायतों को निस्तारित करने में काफी सहूलियत मिलेगी। अभी तक कृष‍ि एवं राजस्व तथा सांख्यिकी विभाग के कर्मचारी इसका आंकलन मैन्युअल तरीके से करके सरकार को आंकड़े उपलब्ध कराते रहे हैं। अब यही सर्वे एक ऐप “डिजिटल क्रॉप सर्वे” के जरिए डिजिटल होगा। डिजिटल क्रॉप सर्वे से पूरी तरह से पारदर्शिता आएगी। इस सर्वे से किसानों को बहुत सारी सहूलियतें मिलेंगी। किसान ने अपने किस गाटे में कौन सी फसल बोई है, उपज कैसी है, सिंचाई का साधन क्या है सब डिजिटल खसरे में दर्ज हो जायेगा।इसका सही लाभ बैंक द्वारा फसली ऋण का सत्यापन किया जाना,फसल बीमा प्रस्ताव का सत्यापन किया जाना, केसीसी बनवाने, उद्यान की फसलों में अनुदान प्राप्त करने में आसानी होगी साथ ही सरकारी क्रय केंद्रों पर उपज बेचने में भी आसानी होगी। उन्होंने बताया कि सरकार ने खेती-किसानी के क्षेत्र में डिजिटल सेवाएं मुहैया कराने के लिए डिजिटल पब्लिक इन्फ्राट्रक्चर इनीशिएटिव (एग्रीस्टैक) प्रोजेक्ट शुरू किया है। एग्रीस्टैक डेटाबेस के आधार पर सरकारी सुविधाएं पाने के लिए किसानों को बार-बार सत्यापन की समस्या से निजात मिलेगी। किसानों की जानकारी उनके आधार के साथ लिंक होगी। इससे प्रदेश के लघु एवं सीमांत किसानों को अत्यधिक लाभ मिलेगा। इतना ही नहीं एग्रीस्टैक के माध्यम से किए जा रहे डिजिटल क्राप सर्वे में प्रत्येक खेत का भौतिक सत्यापन कर संपूूर्ण जानकारी के साथ खेत की फोटो उसी समय एप के माध्यम से अपलोड कर दी जाएगी। इसके साथ ही खेत में लगी फसल का नाम, प्रकार, श्रेणी, सिंचाई का विवरण, बुवाई की तारीख, क्राॅप की फोटो, भूखण्ड का जीआईएस कोऑर्डिनेट्स, क्रॉप सर्वे की तिथि और समय आदि जरूरी जानकारियां एप पर दर्ज की जाएगीं। खेत में साल भर में एक ही फसल पैदा होने या मल्टीपल एवं मिक्सड क्राप और इंटरक्राप होने की जानकारी को भी अपलोड करने की सुविधा उपलब्ध करायी गई है। यह सर्वे रियल टाइम और जियो टैगिंग पर आधारित होने के कारण इससे सटीक परिणाम मिलेंगे, इस डाटा का उपयोग किसान क्रेडिट कार्ड सहित अन्य योजनाओं में किया जाएगा।
जिलाधिकारी ने बताया कि उक्त पायलट प्रोजेक्ट के सफल कियान्वयन हेतु जनपद में स्थित 496 ग्राम पंचायतों के सर्वे हेतु ग्राम पंचायत स्तर पर सर्वेयर प्रत्येक 20 सर्वेयर पर एक-एक सुपरवाइजर एवं ट्रेनर तथा वेरिफायर की तैनाती कर सूचना कृषि निदेशालय, उ०प्र० लखनऊ को प्रेषित की जा चुकी है। आगामी 12 जुलाई, 2023 तक सर्वेयर, सुपरवाइजर एवं ट्रेनर की ट्रेनिंग करायी जायेगी तथा 15 जुलाई तक हेल्पडेस्क की स्थापना कर ली जायेगी। उन्होंने बताया कि लेखपाल डिजिटल क्रॉप सर्वे के दौरान ट्रेनिंग के साथ सर्वे का कार्य करेंगे इसके पश्चात पूरे जनपद के लेखपालों को प्रशिक्षित करेंगे। उन्होंने बताया कि प्रशिक्षण के उपरांत डिजिटल क्राप सर्वे कार्य हेतु आवश्यकता पड़ने पर अन्य लेखपालों को भी प्रशिक्षण हेतु भेजा जाएगा।
जिलाधिकारी ने कहा कि उक्त सर्वे कार्य शासन की सर्वोच्च प्राथमिकता में शामिल है। अतः समस्त अधिकारी,कर्मचारी संवेदनशील होकर कार्य करना सुनिश्चित करें। उन्होंने यह भी निर्देश दिए कि कार्य में लापरवाही और शिथिलता बरतने पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।

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